देश में नफरत और मुहब्बत के बीच लड़ाई, धर्म को बनाया जा रहा राजनीतिक हथियार - राहुल गांधी

देश में नफरत और मुहब्बत के बीच लड़ाई, धर्म को बनाया जा रहा राजनीतिक हथियार - राहुल गांधी

राहुल गांधी के नेतृत्व में कांग्रेस की भारत जोड़ो न्याय यात्रा जारी है। यह यात्रा मणिपुर से शुरू हुई है और महाराष्ट्र में इसकी समाप्ति होगी। यात्रा का आज तीसरा दिन है और मणिपुर से रवाना हुई यह यात्रा मंगलवार को नागालैंड पहुंच गई है। वहीं भारत जोड़ो न्याय यात्रा के नागालैंड की राजधानी कोहिमा में पहुंचने पर राहुल गांधी का स्थानीय लोगों ने गर्मजोशी के साथ स्वागत किया है।

राहुल गांधी ने कोहिमा में वहां के स्थानीय लोगों से मुलाकात की। राहुल गांधी ने नगालैंड के कोहिमा में मीडिया से बात भी की। राहुल गांधी ने कहा कि पिछले साल हमने देश को, अलग-अलग संस्कृतियों, अलग-अलग धर्मों, अलग-अलग भाषाओं को एक साथ लाने के लिए कन्याकुमारी से कश्मीर तक (भारत जोड़ो) यात्रा की थी। इसके बाद हमारा विचार था कि हमें पूर्व से पश्चिम तक एक यात्रा करनी चाहिए। हमने पूर्व से पश्चिम तक के लिए भारत जोड़ो न्याय यात्रा शुरू की है। उन्होंने आगे कहा कि भारत जोड़ो न्याय यात्रा की शुरुआत मणिपुर से करने पर मुझे इस बात की खुशी हो रही है।

राहुल गांधी ने कहा कि बीजेपी के लोग भी कहते हैं कि भारत जोड़ो यात्रा कामयाब रही है। बीजेपी का नफरत भरा हिंसा का मॉडल अन्याय का मॉडल है। अन्याय से नफरत बढ़ रही है और उसके जरिए बीजेपी की कोशिश कुछ लोगों को देश की संपत्ति देने की कोशिश कर रही है। हिंसा के बाद भी पीएम मोदी ने नॉर्थ ईस्ट के मणिपुर जाने की परवाह तक नहीं की और यह शर्मनाक है। राहुल गांधी ने कहा कि पीएम ने नागालैंड से भी कुछ वादे किए थे वो भी पूरा नहीं हुआ। राहुल गांधी से जब लोकसभा चुनाव को लेकर सवाल पूछे गए तो उन्होंने कहा कि बीजेपी से मुकाबले के लिए इंडिया गठबंधन पूरी तरह तैयार है। भारत जोड़ो न्याय यात्रा विचारधारा की यात्रा है। इंडिया गठबंधन अच्छी तरह चुनाव लड़ेगा और वह जीत भी हासिल करेगा। न्याय यात्रा सामाजिक, आर्थिक, राजनीतिक न्याय के लिए है और इसमें जाति जनगणना जैसे कई मुद्दे हैं।

वहीं राम मंदिर के उद्घाटन संबंधी कार्यक्रम पर राहुल गांधी ने कहा कि राम मंदिर के उद्घाटन संबंधी कार्यक्रम को लेकर हिंदू धर्म के अहम लोगों ने भी सवाल दागे हैं कि 22 तारीख का कार्यक्रम चुनावी हो गया है। उन्होंने कहा कि इसे राजनीतिक रंग दिए जाने की वजह से ही कांग्रेस अध्यक्ष ने नहीं जाने का फैसला लिया है। हम सभी धर्मों का सम्मान करते हैं। हालांकि, हमारी पार्टी और गठबंधन में से जो लोग भी वहां जाना चाहे जा सकते हैं।