किसानों के सिर फोड़ने के आदेश देने वाले SDM पर कार्रवाई होगी - दुष्यंत चौटाला

किसानों के सिर फोड़ने के आदेश देने वाले SDM पर कार्रवाई होगी - दुष्यंत चौटाला

हरियाणा के करनाल में शनिवार को पुलिसवालों को ‘सुरक्षा तोड़ने पर किसानों के सिर फोड़ देने’ के आदेश देने वाले SDM आयुष सिन्हा के बारे में उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला ने कहा है कि संबंधित अधिकारी पर कार्रवाई जरूर होगी। एक अधिकारी द्वारा ऐसी शब्दावली का प्रयोग करना निंदनीय है। SDM का व्यवहार एक आईएएस अधिकारी की ट्रेनिंग के भी विपरीत है। गौरतलब है कि CM मनोहर लाल पहले ही इस मामले की जांच कराने की बात कह चुके हैं।

अपनी सफाई में 2 दिन सो नहीं पाने संबंधी एसडीएम आयुष सिन्हा के दूसरे बयान पर दुष्यंत ने कहा कि उन्हें (एसडीएम सिन्हा को) पता होना चाहिए कि किसान सालभर की 365 में से 200 रातें जागकर काटता है। लाठीचार्ज के लिए उनका यह स्पष्टीकरण स्वीकार नहीं किया जा सकता कि वह 2 दिन से सोए नहीं हैं। अफसर को पता होना चाहिए कि किसान साल की 365 में से 200 रातें नहीं सोता।

शनिवार को करनाल में हुए लाठीचार्ज के 24 घंटे बाद, रविवार को चंडीगढ़ में पत्रकारों से बातचीत में उपमुख्यमंत्री ने कहा कि कानून व्यवस्था बनाए रखना राज्य सरकार और प्रशासन का काम है और व्यवस्था किसी सूरत में बिगड़ने नहीं दी जाएगी।

दुष्यंत चौटाला ने करनाल में हुए पूरे घटनाक्रम को लेकर किसानों से भी कुछ सवाल पूछे। उपमुख्यमंत्री ने किसान आंदोलन की अगुवाई कर रहे किसान नेताओं से पूछा कि आखिर किसी के दुख-सुख और निजी कार्यक्रमों में जा रहे नेताओं का विरोध क्यों किया जा रहा है? डिप्टी स्पीकर और विधायकों की गाड़ियों में तोड़फोड़ का उद्देश्य क्या है। दुष्यंत ने किसान आंदोलन की अगुवाई कर रहे संयुक्त किसान मोर्चा पर सवाल उठाते हुए कहा कि शनिवार को किसानों पर हुए लाठीचार्ज के बाद इस मोर्चा में शामिल 40 से ज्यादा किसान नेता कहां हैं?

डिप्टी सीएम ने कृषि कानूनों के विरोध में आंदोलन कर रहे किसानों से पूछा कि जब केंद्र सरकार नये कानूनों में संशोधन के लिए तैयार है तो फिर चर्चा क्यों नहीं हो रही? अगर किसान केंद्र सरकार से चर्चा करना चाहते हैं तो वह खुद केंद्र से बातचीत कर मध्यस्थता के लिए तैयार हैं, क्योंकि चर्चा के बिना किसी समस्या का समाधान नहीं निकलता। 3 नए कानूनों से किसानों को क्या खतरा है, उस पर चर्चा होनी चाहिए। TNI